Aur Kitna Waqt Lagega Sare Khwaab Bahane Mein
दरिया की देहलीज़ पे बैठी सोच रही है ये आँखें..!! कितना वक़्त लगेगा आखिर सारे ख्वाब बहने में..!!
दरिया की देहलीज़ पे बैठी सोच रही है ये आँखें..!! कितना वक़्त लगेगा आखिर सारे ख्वाब बहने में..!!
दुनिया जिसे नींद कहती है, जाने वो क्या चीज़ होती है, आँखे तो हम भी बंद करते हैं, और वो आपसे मिलने की तरकीब होती है…
उदास न होना हम आपके साथ है, नज़र से दूर पर दिल के पास है, पलकों को बंद कर के दिल से याद करना, हम हमेशा आप के लिए एक एहसास है…
हर दोस्त से अच्छी बात करना फितरत है हमारी, हर दोस्त खुश रहे ये हसरत है हमारी, कोई हम को याद करे न करे, हर दोस्त को याद करना आदत है हमारी…