Fir Aaj Uski Kami Rah Gayi
ये बरसात आज मुझसे कुछ कह गयी, आज फिर मेरी बाहो में उसकी कमी रह गयी, एक पल के लिए उसे छुआ मैंने, और आज फिर उसकी याद बारिश में पानी की तरह बह गयी…
ये बरसात आज मुझसे कुछ कह गयी, आज फिर मेरी बाहो में उसकी कमी रह गयी, एक पल के लिए उसे छुआ मैंने, और आज फिर उसकी याद बारिश में पानी की तरह बह गयी…